Wednesday, April 1, 2020

Lockdown Day 8 Apr 1, 2020

21 दिन!
आज आठवाँ दिन है !
रामचरितमानस का पंद्रहवाँ  सोलहवाँ मासपारायण।
राम प्रस्तुत हैं सहर्ष वन जाने के लिए,
लक्ष्मण और सीता भी साथधर्म निभाने के लिए !
बहुविधि समझाते हैं सभीसीता को रूकने हेतु,
लेकिन आदिशक्ति स्वयंवन जा रही लीला हेतु। 
लक्ष्मण के लिए सेवा धर्म है सर्वोपरि,
माँ सुमित्रा ने सहर्ष आज्ञा दीउर्मिला तो बिसरी। 

केवट ने गंगा पार करायातारणहार को,
उतराई का क़र्ज़ छोड़बांध लिया भगवान को !
वापस आते समय जो दोगेले लूँगा उसको सहर्ष,
राम ने स्वीकारा भक्ति भाववन में बढ़े सहर्ष। 
गुहमुनि भारद्वाजग्रामवासी नर नारी अनेक,
दर्शन कर अनुपम छविपाए अमोघ फल प्रत्येक। 

तबलीगी जमात ने मचा दिया कोरोना कोहराम,
चाहे राखे अल्लाहचाहे रक्षा करे राम। 
यह संक्रमण ना बदले सामाजिक संक्रमण में,
कर रही सरकार यही प्रयासइस कोरोना रण में। 
दुनिया में मौतों की संख्या और संक्रमण बढ़ रहा,
नापाक चीन अपने व्यापार के अवसर ढूँढ रहा। 

प्रकृति का अपने सुधार कायह अनूठा प्रयास,
मानव हो मानो वायरसकर रही प्रकृति उपहास। 
मानव के लॉकडाउन होने सेबाहर सब सुंदर है,
मानो प्रकृति कह रहीमुझे नहींतुझे ज़रूरत है। 
तू समझ मेरे दुलार कोआनंद कर मेरी गोद में,
छोड़ शोषणपुत्र मेरे भर दूँगी तेरा मन मोद से। 

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